आईआईटी कानपुर से एक टीम फल्गु नदी को पुनर्जीवित करने को लेकर स्टडी करने गया आएगी, नेशनल मिशन फ़ॉर क्लीन गंगा के डायरेक्टर जनरल पहुंचे गया

वरीय संवाददाता देवब्रत मंडल

नेशनल मिशन फ़ॉर क्लीन गंगा के डायरेक्टर जनरल 1991 बैच के आईएएस जी. अशोक कुमार के साथ गया जिला पदाधिकारी डॉ. त्यागराजन एसएम की बैठक एक होटल में रविवार को हुई। मुख्य रूप से निरंजना नदी के पुनर्जीवित करने के संबंध में कई मुद्दों पर बातचीत हुई है। बिहार सरकार द्वारा भूगर्भ जल को संरक्षित रखने के लिए उठाए जा रहे कदम यथा पेयजल के लिए फल्गु नदी में ट्यूबेल बंद कर गंगा जल आपूर्ति की जा रही है, जिससे फल्गु नदी के वाटर टेबल को बरकरार रखा जा रहा है। गयाजी डैम की विशेषता आदि के बारे में विस्तार से बात हुई है। कृषि कार्य के लिए बिजली के जगह सोलर पंप का प्रयोग करना, फल्गु नदी में जो ड्रेनेज जा रहा है, उसको चिन्हित कर उसको सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट का निर्माण के संबंध में चर्चा हुई। उन्होंने गयाजी डैम एवं गंगा जल आपूर्ति से लोगो तक पेयजल उपलब्ध करवाने तथा फल्गु नदी से लगे ट्यूबवेल से वाटर सप्लाई बंद करने जिससे भूगर्भ जल स्तर को बरकरार रखने के कार्य किया गया है। उन्होंने बिहार सरकार द्वारा भूगर्भ जल स्तर को संरक्षण करने की इस पहल को काफी सराहा।

झारखंड में चतरा जिले के सिमरिया ब्लॉक के बेलगड्ढा के समीप फल्गु निरंजना नदी के उद्गम स्थल से गया में फल्गु नदी जो आगे जहानाबाद होते हुए आगे की ओर बहती है, उस पूरी नदी को संरक्षण करने के लिए जो विभिन्न कदम उठाए जाने के संबंध में विस्तार से बातचीत हुई है। किस प्रकार फल्गु नदी तट पर प्लांटेशन करना, विभिन्न जगहों को चिन्हित करके चेकडैम बनाना, फल्गु नदी के स्रोत में कैसे गाद( शिल्ट) को कम करना, फल्गु नदी में जो डि-सिल्टिंग कार्य किस प्रकार किया जाना, कितनी मात्रा में बालू का उठाव किया जाना आदि के संबंध में विस्तार से चर्चा की गई। सबसे बड़ी बात कि अगले तीन माह के अंदर आईआईटी कानपुर से एक टीम फल्गु नदी को पुनर्जीवित करने के संबंध में विस्तार से स्टडी(अध्ययन) करेगी। प्रतिवेदन(रिपोर्ट) उपलब्ध करवायेगी। उसके आलोक में अग्रेतर कार्रवाई की जाएगी।

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